संसद, विधायक, मौन, प्राइवेट स्कूलों में दिन पर दिन हो रही अभिभावकों लूट

ब्यूरो रिपोर्ट -अनूप पाण्डेय
किसान मजदूर संघर्ष मोर्चा संयोजक चालक संघ अध्यक्ष पिंदर सिंह सिद्धू ने कहा, योगी सरकार को सूचना होगा आखिर क्या वजह है कि सरकारी स्कूलों में अभिभावक अपने बच्चों को पढ़ाई के लिए नहीं भेज रहे जब की सरकार द्वारा निरंतर प्रयास किया जा रहा है, देश के सभी प्राइवेट स्कूलों ने सेवा की के नाम पर धंधा बना रखा है,
ऐसी क्या मजबूरी है सभी स्कूलों को हर साल सलेबस ,कोर्स में बदलाव करना पड़ता है, आप सोचिए यदि आपके दो बच्चे है ,और बड़ा बच्चा आपका आठवीं कच्छा में है और छोटा सातवीं कच्छा में ,
तो अगले साल आप बड़े बच्चे के कोर्स छोटे बच्चे के काम नहीं आएगा,
क्योंकि अगले साल स्कूल सिलेबस बदल देगा , जिससे स्कूलों को मोटा कमीशन मिलता है ,किताबों में, इसलिए, हर साल कोर्स बदला जाता है ,
स्कूल में हर साल दो-तीन कार्यक्रम हो ते हैं, उसके लिए भी अभिभावकों से मोटी वसूली की जाती है ,जो की कार्यक्रम की जिम्मेदारी स्कूल की होनी चाहिए ,
,देश के सभी जनप्रतिनिधियों को विधानसभा राज्यसभा लोकसभा में जोर-शोर से इस मुद्दे को उठाना चाहिए ताकि आम जनमानस को इस लूट से राहत मिल सके,
सामाजिक संगठनों को एक छूट होकर आंदोलन करना चाहिए,ताकि सरकार की आंखें खुल सके और आम जनमानस को राहत मिल सके ,
अन्यथा महंगाई और बेरोजगारी के चलते अभिभावक कभी भी अपने बच्चों को पूर्णतया पढ़ाई नहीं करवा पाएंगे,
सभी अभिभावकों को इस मुद्दे पर एक हो जाना चाहिए,
पहली बात तो कोई ऐसे मुद्दे उठाता नहीं अगर कोई संगठन इस मुद्दे को उठा रहा है तो सभी पीड़ित अभिभावकों को बढ़ चढ़कर साथ देना चाहिए ,तभी शिक्षा माफियाओं से छुटकारा मिलेगा,
फिर मत कहना कि शिक्षा माफिया का मुद्दा कोई नहीं उठाता,